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Hatha Yoga Pradipika (हठयोगप्रदीपिका)

27.00

Author Ajay Kumar Uttam
Publisher Bharatiya Vidya Sansthan
Language Sanskrit & Hindi
Edition 1st edition, 2002
ISBN 81-87415-21-5
Pages 98
Cover Paper Back
Size 12 x 1 x 18 (l x w x h)
Weight
Item Code BVS0168
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Description

हठयोगप्रदीपिका (Hatha Yoga Pradipika) हठयोगप्रदीपिका हठयोग का प्रधान ग्रन्थ है। इसके रचनाकार स्वात्माराम योगीन्द्र है। यह ग्रन्थ नाथ सम्प्रदाय के अन्तर्गत आता है। नाथ सम्प्रदाय अत्यन्त ही प्राचीन है तथा यह हठयोगविद्या नाथ सम्प्रदाय से भी अति प्राचीन है। लेखक ने गुरुपरम्परा से प्राप्त हठयोग के ज्ञान को इस ‘हठयोगप्रदीपिका’ नामक ग्रन्थ में चार उपदेशों में लिखा है। प्रथम उपदेश में यम-नियमसहित आसन का वर्णन किया है, दूसरे उपदेश में प्राणायाम का विवरण है, तीसरे उपदेश में मुद्राओं का वर्णन किया है तथा चतुर्थ एवं अंतिम उपदेश में प्रत्याहारादिरूप समाधि का वर्णन किया है।

इस ग्रन्थ का हिन्दी अनुवाद सरल एवं सुबोध भाषा में किया गया है। भाषा की दुरूहता से बचा गया है। इसके साथ ही इसमें दो अत्यन्त ही महत्त्वपूर्ण परिशिष्ट जोड़ दिए गए है। इनमें एक परिशिष्ट त्राटक से सम्बन्धित है तथा दूसरा कुण्डलिनी-सहस्रनाम से । देश-काल की परिस्थितियों के अनुसार आचरण कर त्राटक एवं कुण्डलिनी जागरण का अभ्यास कर विशिष्ट सिद्धियाँ प्राप्त की जा सकती हैं। साधकों एवं पाठकों को इस ग्रन्थ के द्वारा अपेक्षित सहायता प्राप्त होगी, ऐसी ही आशा की जाती है।

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